देश में अब प्राइवेट ट्रेन भी चलेगी

देश में अब प्राइवेट ट्रेन भी चलेगी - मोदी सरकार दो के पहले केंद्रीय बजट 2019 पेश करते हुए देश की पहली पूर्णकालिक वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने रेलवे के लिए कई महत्वपूर्ण घोषणाएं की हैं।

indiantrain

केंद्रीय बजट के तहत रेलवे बजट 2019 पेश करते हुए वित्तमंत्री ने साफ, सुरक्षित और समयबद्ध रेल यात्रा पर जोर दिया है। वित्तमंत्री ने वर्ष 2019-20 के बजट में 300 किलोमीटर मेट्रो रेल परियोजना को मंजूरी प्रदान की है।

वित्तमंत्री ने बताया कि इस वर्ष 657 किलोमीटर नए मेट्रो रेल नेटवर्क पर संचालन शुरू कर दिया जाएगा। साथ ही उन्होंने रेलवे किराए में सुधार के लिए आदर्श किराया कानून बनाने का भी प्रस्ताव पेश किया है।

इसके जरिए रेलवे यात्रियों की जरूरत, सुविधाओं और विभाग की आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए किराया तय करेगी। वित्तमंत्री ने कहा कि भारतीय रेल और मेट्रो प्रोजेक्ट में पीपीपी मॉडल के जरिए निजी भागीदारी को बढ़ावा दिया जाएगा।

उन्होंने बजट में रेलवे ट्रैक के लिए पीपीपी मॉडल को मंजूरी प्रदान कर दी है।

वित्तमंत्री ने कहा कि पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (पीपीपी) मॉडल से रेलवे के विकास में तेजी आएगी।

पहली बार प्राइवेट ट्रेन

रेलवे में निजी भागीदारी के साथ सरकार देश में पहली बार प्राइवेट ट्रेनों का संचालन शुरू करने जा रही है। वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि भारतीय रेलवे की योजना है कि निजी भागीदारों को पर्यटन वाले रूट पर कुछ चुनिंदा ट्रेनें संचालित करने की

अनुमति प्रदान की जाए। सरकार की 100 दिन की योजना के तहत दो ट्रेनें संचालन के लिए आईआरसीटीसी  को दी जाएंगी। इसके जरिए ट्रेन यात्रियों को और प्रीमियम सुविधाएं उपलब्ध कराने का प्रयास किया जाएगा।

ट्रैक और सिग्नलिंग का आधुनिकीकरण

वित्तीमंत्री ने कहा कि हम न केवल तेज रफ्तार ट्रेन चलाने की दिशा में काम कर रहे हैं, बल्कि ट्रैक और सिग्नलिंक के आधुनिकीकरण पर भी विशेष ध्यान दिया जा रहा है।

भारतीय रेलवे जल्द यूरोपीयन सिग्नलिंग इंफ्रास्ट्रक्चर को अपनाने पर भी विचार कर रहा है। इससे रेल यात्रा में न केलव तेजी आएगी, बल्कि ये पहले से ज्यादा सुरक्षित भी होगी।

आधुनिकीकरण के लिए 50 लाख करोड़ की आवश्यकता

वित्तमंत्री ने संसद में बताया कि रेल ढांचे के मॉडर्नाइजेशन और स्वीकृत योजनाओं को पूरा करने के लिए 50 लाख करोड़ रुपये की जरूरत है। इन परियोजनाओं को वर्ष 2018 से वर्ष 2030 तक पूरा होना है।

रेलवे के ढांचागत विकास पर विशेष जोर दिया जाएगा। इसमें रेल पटरी के विस्तार और सुधारीकरण के साथ स्टेशन का ढांचा भी शामिल होगा। स्टेशनों को अंतरराष्ट्रीय स्तर का बनाने का लक्ष्य है, ताकि वहां हर तरह की सुविधा मौजूद हो।

रेलवे ने बांद्रा टर्मिनस, कोलकाता व कानपुर सेंट्रल समेत देश के 22 प्रमुख रेलवे स्टेशनों का विश्वस्तरीय पुनर्विकास  कराने का लक्ष्य निर्धारित किया है।

इंडियन रेलवे स्टेशन डेवेलपमेंट कॉरपोरेशन का लक्ष्य इन स्टेशनों पर एयरपोर्ट जैसी सुविधाएं मुहैया कराने पर है।


खबरें पढने के लिए यहाँ देखे
See More Related News

Rajputana News e-paper daily digital edition, published and circulated from Jaipur Rajasthan


Follow us: Facebook
Follow us: Twitter
Youtube

Post Business Listing - for all around India
और नया पुराने